नमूना और जनसंख्या का अर्थ और परिभाषा, नमूनाकरण के प्रकार/ Meaning And Definition Of Sample And Population, Types Of Sampling In Hindi

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शोध के क्षेत्र में, सैंपल और जनसंख्या (population) ऐसे प्रमुख शब्द हैं जो उन व्यक्तियों या वस्तुओं के समूह को वर्णित करने के लिए उपयोग किए जाते हैं जिन पर अध्ययन किया जाता है।

जनसंख्या: अर्थ और परिभाषा

जनसंख्या से तात्पर्य उन सभी व्यक्तियों, वस्तुओं या घटनाओं के पूरे समूह से है जो किसी शोध अध्ययन का केंद्र होते हैं। यह उन सभी तत्वों को शामिल करता है जिन्हें संभावित रूप से देखा या मापा जा सकता है। जनसंख्या व्यापक समूह का प्रतिनिधित्व करती है, जिसके आधार पर निष्कर्ष निकाले जाते हैं।

  • उदाहरण: यदि एक अध्ययन किसी शहर के उच्च विद्यालय के छात्रों की खान-पान की आदतों को समझने के लिए किया जाता है, तो जनसंख्या उस शहर के सभी उच्च विद्यालय के छात्रों को शामिल करेगी।

जनसंख्या का आकार भिन्न हो सकता है और यह सीमित (जैसे, विशेष छात्रों का समूह, लोग, या जानवर) या असीमित (जैसे, सभी संभावित घटनाओं का संग्रह) हो सकती है।

सैंपल: अर्थ और परिभाषा

सैंपल जनसंख्या का एक छोटा, चयनित हिस्सा है जिसका उपयोग वास्तविक शोध या अध्ययन के लिए किया जाता है। सैंपल को आदर्श रूप से जनसंख्या का प्रतिनिधि होना चाहिए ताकि उसके परिणामों को पूरी जनसंख्या पर लागू किया जा सके। चूंकि पूरी जनसंख्या का अध्ययन करना अक्सर व्यावहारिक या संभव नहीं होता है, इसलिए शोधकर्ता सैंपल को एक प्रबंधनीय समूह के रूप में चुनते हैं जिससे डेटा एकत्रित किया जा सके।

  • उदाहरण: यदि जनसंख्या किसी शहर के सभी उच्च विद्यालय के छात्रों की है, तो सैंपल उन छात्रों का एक छोटा समूह हो सकता है, जैसे विभिन्न स्कूलों से चुने गए 200 छात्र।

सैंपल का उपयोग इसलिए किया जाता है ताकि जनसंख्या की विशेषताओं को दर्शाने वाले डेटा को एकत्रित किया जा सके और समय, लागत और प्रयास को कम किया जा सके।

सारांश

  • जनसंख्या: वह संपूर्ण समूह जिसे अध्ययन के लिए चुना गया है।
  • सैंपल: जनसंख्या का एक छोटा, प्रतिनिधि हिस्सा जो अध्ययन के लिए चुना गया है।

सैंपलिंग के प्रकार: एक व्यापक विवरण

शोध पद्धति में सैंपलिंग एक महत्वपूर्ण प्रक्रिया है, जो शोधकर्ताओं को पूरे समूह का अध्ययन करने के बजाय उसकी एक छोटी सी आबादी का अध्ययन करने में सक्षम बनाती है। सही सैंपलिंग विधि का चयन शोध के परिणामों की विश्वसनीयता और सटीकता सुनिश्चित करता है। सैंपलिंग विधियों को मुख्य रूप से संभाव्यता सैंपलिंग (Probability Sampling) और असंभाव्यता सैंपलिंग (Non-Probability Sampling) में वर्गीकृत किया गया है। यहां इन सैंपलिंग विधियों का हिंदी में विस्तृत विवरण दिया गया है।

1. संभाव्यता सैंपलिंग: यादृच्छिकता (Randomness) सुनिश्चित करना

संभाव्यता सैंपलिंग वह विधि है जिसमें आबादी के हर सदस्य को चुने जाने का समान और ज्ञात अवसर मिलता है। यह पद्धति पक्षपात को कम करती है और परिणामों को पूरे समूह पर लागू करने में सहायक होती है।

(क) सरल यादृच्छ सैंपलिंग (Simple Random Sampling)

  • क्या है: आबादी के प्रत्येक सदस्य के पास चुने जाने का समान अवसर होता है।
  • कैसे काम करता है: नामों को लॉटरी के माध्यम से या कंप्यूटर आधारित यादृच्छ संख्या जनरेटर का उपयोग करके चुना जाता है।
  • उपयुक्तता: जब आबादी एकसमान हो और सादगीपूर्ण तरीका पर्याप्त हो।

(ख) प्रणालीगत सैंपलिंग (Systematic Sampling)

  • क्या है: आबादी की सूची में से प्रत्येक k-वें सदस्य का चयन।
  • कैसे काम करता है: यादृच्छ प्रारंभिक बिंदु चुनने के बाद नियमित अंतराल पर चयन किया जाता है।
  • उपयुक्तता: बड़ी आबादी में जहां सादगी और गति आवश्यक हो।

(ग) स्तरीकृत सैंपलिंग (Stratified Sampling)

  • क्या है: आबादी को विशिष्ट विशेषताओं (जैसे आयु, लिंग, आय) के आधार पर उपसमूहों (स्तरों) में विभाजित करना और प्रत्येक समूह से यादृच्छ सैंपल लेना।
  • कैसे काम करता है: प्रत्येक स्तर का प्रतिनिधित्व सुनिश्चित किया जाता है।
  • उपयुक्तता: जब सभी उपसमूहों का प्रतिनिधित्व महत्वपूर्ण हो।

(घ) क्लस्टर सैंपलिंग (Cluster Sampling)

  • क्या है: आबादी को समूहों (क्लस्टर) में विभाजित करना और पूरे समूहों का यादृच्छ चयन करना।
  • कैसे काम करता है: व्यक्तिगतों के बजाय समूहों का अध्ययन किया जाता है।
  • उपयुक्तता: जब आबादी बड़ी और व्यापक रूप से फैली हो।

(ङ) बहु-चरणीय सैंपलिंग (Multi-Stage Sampling)

  • क्या है: दो या अधिक संभाव्यता सैंपलिंग तकनीकों का संयोजन।
  • कैसे काम करता है: पहले समूहों का चयन, फिर उन समूहों में से व्यक्तियों का चयन।
  • उपयुक्तता: बड़ी और विविध आबादी में जहां कई चरणों की आवश्यकता होती है।

2. असंभाव्यता सैंपलिंग: व्यावहारिक और केंद्रित

असंभाव्यता सैंपलिंग में यादृच्छ चयन शामिल नहीं होता। इसके बजाय, प्रतिभागियों को उपलब्धता, सुविधा, या विशिष्ट मानदंडों के आधार पर चुना जाता है। यह तेज़ और कम संसाधन-सघन होता है, लेकिन इसके परिणाम हमेशा पूरी आबादी का सटीक प्रतिनिधित्व नहीं कर पाते।

(क) सुविधा सैंपलिंग (Convenience Sampling)

  • क्या है: उन प्रतिभागियों का चयन जो आसानी से उपलब्ध हों।
  • कैसे काम करता है: जो व्यक्ति शोधकर्ता के निकट हों, उन्हें चुना जाता है।
  • उपयुक्तता: जब संसाधन सीमित हों और शीघ्रता से अध्ययन करना हो।

(ख) उद्देश्यपूर्ण सैंपलिंग (Purposive Sampling)

  • क्या है: विशेष मानदंडों के आधार पर प्रतिभागियों का चयन।
  • कैसे काम करता है: शोधकर्ता विशिष्ट विशेषताओं वाले व्यक्तियों को चुनता है।
  • उपयुक्तता: जब विशेषज्ञों की राय या विशिष्ट समूहों की आवश्यकता हो।

(ग) स्नोबॉल सैंपलिंग (Snowball Sampling)

  • क्या है: पहले प्रतिभागी अन्य लोगों को संदर्भित करते हैं, और यह प्रक्रिया श्रृंखला की तरह बढ़ती जाती है।
  • कैसे काम करता है: एक नेटवर्क प्रभाव बनता है।
  • उपयुक्तता: जब आबादी को खोजना मुश्किल हो, जैसे दुर्लभ बीमारियों वाले लोग।

(घ) कोटा सैंपलिंग (Quota Sampling)

  • क्या है: पूर्वनिर्धारित मानदंडों के अनुसार प्रतिभागियों का चयन।
  • कैसे काम करता है: समूहों को भरा जाता है, लेकिन चयन यादृच्छ नहीं होता।
  • उपयुक्तता: विविधता सुनिश्चित करना, बिना जटिल प्रक्रिया के।

(ङ) स्वयंसेवी सैंपलिंग (Volunteer Sampling)

  • क्या है: प्रतिभागी स्वयं अध्ययन में भाग लेने के लिए आगे आते हैं।
  • कैसे काम करता है: विज्ञापन या निमंत्रण के माध्यम से स्वयं चयन।
  • उपयुक्तता: जब रुचि और स्वेच्छा महत्वपूर्ण हो।

सही सैंपलिंग विधि का चयन कैसे करें

सैंपलिंग विधि का चयन निम्न कारकों पर निर्भर करता है:

  • शोध के उद्देश्य: सटीकता या गति में से किसे प्राथमिकता दी जा रही है।
  • आबादी की विशेषताएं: क्या आबादी विविध है या समान?
  • संसाधन उपलब्धता: समय और बजट की सीमा।

निष्कर्ष

सैंपलिंग वह पुल है जो बड़ी आबादी और प्रबंधनीय, क्रियाशील शोध के बीच बनता है। संभाव्यता सैंपलिंग सटीक और सामान्यीकृत अध्ययन के लिए आदर्श है, जबकि असंभाव्यता सैंपलिंग अन्वेषणात्मक या विशिष्ट शोध के लिए उपयुक्त है। उचित सैंपलिंग विधि का चयन करके शोधकर्ता अपने अध्ययन को अधिक प्रभावी और उपयोगी बना सकते हैं।

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